गाय के गोबर से बिजली पैदा करने के लिए जमशेर डेयरी कॉम्प्लेक्स में बायोगैस प्लांट लगाने की तैयारी की जा रही है। काम कई सालों से लटका हुआ था, लेकिन अब जल्द ही शुरू होने की उम्मीद लग रही है। जमीन ठेकेदार को ट्रांसफर कर दी गई है। गाय के गोबर से एक मेगावाट बिजली तैयार करने के लिए पावर प्लांट लगाया जाना है। गाय के गोबर से गैस भी बनेगी। ठेका कंपनी इस पर करीब 20 करोड़ रुपये खर्च करेगी। कंपनी ने 1.5 लाख रुपये के सालाना रेंटल पर 23 साल के लिए एग्रीमेंट किया है। बायो गैस प्लांट लगाने के लिए जर्मन तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा। प्लांट पर 31 दिसंबर 2020 तक काम शुरू होना था। लेकिन ठेकेदार काम को लेकर गंभीर नहीं था। लेकिन, अब उम्मीद जगी है। जमशेर परिसर में लगभग 17,000 जानवर हैं। डेयरी मालिक गोबर को सीवर में ही डालते हैं। जो नाले में गिर जाता है। कंपनी डेयरी मालिकों से गाय का गोबर खरीदेगी। जिससे डेयरी मालिकों की आय भी बढ़ेगी।
गाय के गोबर से बिजली पैदा करने के लिए जमशेर डेयरी कॉम्प्लेक्स में बायोगैस प्लांट लगाने की तैयारी की जा रही है। काम कई सालों से लटका हुआ था, लेकिन अब जल्द ही शुरू होने की उम्मीद लग रही है। जमीन ठेकेदार को ट्रांसफर कर दी गई है। गाय के गोबर से एक मेगावाट बिजली तैयार करने के लिए पावर प्लांट लगाया जाना है। गाय के गोबर से गैस भी बनेगी। ठेका कंपनी इस पर करीब 20 करोड़ रुपये खर्च करेगी। कंपनी ने 1.5 लाख रुपये के सालाना रेंटल पर 23 साल के लिए एग्रीमेंट किया है। बायो गैस प्लांट लगाने के लिए जर्मन तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा। प्लांट पर 31 दिसंबर 2020 तक काम शुरू होना था। लेकिन ठेकेदार काम को लेकर गंभीर नहीं था। लेकिन, अब उम्मीद जगी है। जमशेर परिसर में लगभग 17,000 जानवर हैं। डेयरी मालिक गोबर को सीवर में ही डालते हैं। जो नाले में गिर जाता है। कंपनी डेयरी मालिकों से गाय का गोबर खरीदेगी। जिससे डेयरी मालिकों की आय भी बढ़ेगी।
No comments:
Post a Comment