अगर आप टैक्सपेयर हैं, तो ये खबर आपके लिए बेहद जरूरी है। इनकम
टैक्स डिपार्टमेंट ने असेसमेंट ईयर के लिए ITR-1,
ITR-3, ITR-4 और ITR-5
फॉर्म नोटिफाई कर दिए हैं। अब आइए समझते हैं-
ITR फॉर्म क्या होता है, और आपके लिए कौन सा फॉर्म सही है?
🔍
ITR फॉर्म क्या होता है?
ITR यानी Income
Tax Return एक
ऐसा फॉर्म है जिसके जरिए आप सरकार को अपनी सालाना आय, टैक्स डिडक्शन और देय टैक्स की जानकारी
देते हैं।
📝
कौन सा ITR फॉर्म किसके लिए है?
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ITR-1 (सहज फॉर्म)
- आय: सैलरी,
पेंशन, एक हाउस
प्रॉपर्टी, अन्य
स्रोत
- कुल आय: ₹50
लाख तक
- छोटे किसान (≤
₹50 हजार इनकम) भी भर सकते हैं
- अब जिनका LTCG ₹1.25 लाख तक है, वे भी ITR-1 भर सकते हैं
- 🚫 नहीं भर सकते: बिजनेसमैन, एक से ज्यादा प्रॉपर्टी वाले, HNI, डायरेक्टर, NRI
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ITR-2
- आय: ₹50 लाख से ज्यादा,
हाउस प्रॉपर्टी, पूंजी लाभ
- डायरेक्टर्स,
एक से ज्यादा प्रॉपर्टी मालिक, लॉटरी/गैंबलिंग
इनकम
- कुछ NRIs भी योग्य हैं
- 🚫 नहीं भर सकते: जिनकी आय बिजनेस/प्रोफेशन से है
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ITR-3
- आय: बिजनेस,
प्रोफेशन (डॉक्टर, वकील, फ्रीलांसर)
- ट्रेडिंग, पार्टनरशिप फर्म पार्टनर
- F&O, इंट्राडे ट्रेडर एसेसमेंट ईयर 2025-26 में कुछ बदलाव लागू
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ITR-4 (सुगम फॉर्म)
- आय: धारा 44AD,
44ADA, 44AE के तहत अनुमानित
- टर्नओवर लिमिट के भीतर छोटे व्यापार/पेशेवर
- सैलरी/पेंशन की इनकम भी शामिल
- 🚫 नहीं भर सकते: NRI, डायरेक्टर, जिनकी विदेशी आय/संपत्ति है
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ITR-5
- पार्टनरशिप फर्म,
LLP, AOP, ट्रस्ट, संस्थाएं
- मंदिर, धार्मिक संस्था, विश्वविद्यालय
- 🚫 नहीं भर सकते: Individual, Company, NRI
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ITR-6
- ऐसी कंपनियां जो Section 11 के तहत छूट नहीं लेतीं
- 🚫 नहीं भर सकते: Individual टैक्सपेयर्स, चैरिटेबल कंपनियां
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ITR-7
- चैरिटी संस्था,
रिसर्च संस्था, कॉलेज, यूनिवर्सिटी, राजनीतिक दल
- धारा 139(4A),
139(4B), 139(4C), 139(4D) के तहत
❓क्या
है NIL ITR या
Zero Income Tax Return?
अगर आपकी इनकम टैक्स लिमिट से कम है, फिर भी आप ITR फाइल करते हैं, तो इसे NIL ITR कहा जाता है। यह फ्यूचर में लोन, वीज़ा,
या वित्तीय रिकॉर्ड के लिए फायदेमंद हो सकता है।
🛡️
सही ITR फॉर्म क्यों जरूरी है?
गलत फॉर्म भरने पर:
- ITR रिजेक्ट हो सकता
है
- पेनल्टी लग सकती है
- रिफंड में देरी हो सकती है
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