जालंधर: पंजाब सरकार के ‘युद्ध नशे के विरुद्ध’ अभियान के तहत जालंधर कमिश्नरेट पुलिस ने लखनपाल गांव में एक बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया। नशा तस्करों द्वारा सरकारी जमीन पर बनाए गए अवैध ढांचों को आज ध्वस्त कर दिया गया। ये इलाका लंबे समय से नशे के नेटवर्क का गढ़ माना जाता रहा है।
पुलिस कमिश्नर धनप्रीत कौर के नेतृत्व में चले इस बुलडोजर ऑपरेशन में पंचायत विभाग और पुलिस टीमों ने मिलकर तुरंत कार्रवाई की। उन्होंने बताया कि लखनपाल गांव नशे की बिक्री और सप्लाई का कुख्यात केंद्र बन चुका था, और इस ऑपरेशन का उद्देश्य है इस पूरे नेटवर्क को जड़ से खत्म करना।
मुख्य आरोपी हरदीप सिंह उर्फ दीपा, एक हिस्ट्रीशीटर है जिसके खिलाफ NDPS एक्ट के तहत 7 सहित कुल 9 केस दर्ज हैं। पुलिस ने बताया कि दीपा के पिता सरबजीत सिंह और भाई संदीप उर्फ सोनू पर भी कई मामले चल रहे हैं। दीपा ने सरकारी जमीन पर अवैध कब्जा कर इन ढांचों का इस्तेमाल पुलिस छापों से बचने के लिए छुपने की जगह के रूप में किया था।
अब ये ढांचे ध्वस्त हो चुके हैं, और भागने के उनके रास्ते पूरी तरह बंद कर दिए गए हैं। पुलिस ने पहले ही इलाके से 9 नशा तस्करों को गिरफ्तार कर लिया है, जबकि अन्य फरार हैं। साथ ही, NDPS एक्ट के तहत दो और संपत्तियों की पहचान की जा चुकी है जिन पर जल्द ही कार्रवाई होगी।
इस बीच, गांव की पंचायत ने भी नशे के खिलाफ एक मजबूत कदम उठाते हुए गांव को नशा मुक्त घोषित करने का प्रस्ताव पारित किया है, और सरकार को अपना पूर्ण समर्थन दिया है।
पुलिस कमिश्नर ने लोगों से अपील की है कि अगर किसी को नशे से जुड़ी कोई गतिविधि नज़र आती है, तो वे बिना किसी डर के 9779-100-200 पर व्हाट्सएप के जरिए सूचना दें। आपकी पहचान गोपनीय रखी जाएगी।
गांववासियों ने इस बुलडोजर कार्रवाई का दिल से स्वागत किया है, और उम्मीद जताई है कि जल्द ही लखनपाल गांव पूरी तरह नशा मुक्त बनकर एक नई पहचान बनाएगा।
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